ट्रस्ट को हम यह कह सकते है की ट्रस्ट एक कानूनी इकाई है। जिसमें किसी व्यक्ति के जीवनकाल के दौरान संपत्ति एकत्र की जाती है। और वह संपत्ति वह व्यक्ति सीधे या किसी विशेष समय पर अपनी इच्छाओं को पूरा करने के लिए चुने गए भरोसेमंद व्यक्तियों के माध्यम से वितरण को नियंत्रित कर सकता है।
ट्रस्ट तीसरे पक्ष (लाभार्थियों) के लाभ के लिए किसी अन्य पार्टी (ट्रस्टी) को बसने वाले द्वारा संपत्ति या परिसंपत्तियों के हस्तांतरण की सुविधा भी प्रदान करता है।
भारतीय ट्रस्ट अधिनियम के द्वारा ट्रस्ट को परिभाषित किया गया है-
– जो व्यक्ति विश्वास की घोषणा करता है। वह ‘ट्रस्ट का लेखक’ होता है।
– जो व्यक्ति विश्वास को स्वीकार करता है। उसे ट्रस्टी के रूप में जाना जाता है।
– ट्रस्टी द्वारा जिस व्यक्ति के लाभ और विश्वास को स्वीकार किया जाता है। उसे “लाभार्थी” कहा जाता है।
– ट्रस्ट की विषय वस्तु और सामग्री को ‘ट्रस्ट-संपत्ति ’के रूप में जाना जाता है।
– जिस उपकरण के द्वारा ट्रस्ट घोषित किया जाता है। उस उपकरण को ट्रस्ट डीड कहा जाता है।
ट्रस्ट की परिभाषा –
ट्रस्ट संपत्ति के स्वामित्व से जुड़ा हुआ एक दायित्व है । और यह किसी अन्य या दूसरे के लाभ के लिए मालिक द्वारा अस्वीकार और स्वीकार किए गए आत्मविश्वास से उत्पन्न होता है। या उसके द्वारा घोषित और स्वीकार किया जाता है।
ट्रस्ट के गठन के लिए आवश्यक दस्तावेज-
ट्रस्ट के गठन के लिए निम्न दस्तावेज़ की आवश्यकता होती है।
1. सभी ट्रस्टियों का विवरण उनके पते और पैन नं
2. संस्थान के पंजीकरण प्रमाणपत्र की प्रमाणित प्रतियां
3. आयकर पंजीकरण प्रमाणपत्र की एक प्रति
4. पिछले 3 वर्षों की ऑडिट रिपोर्ट के साथ ऑडिटेड बैलेंस शीट और आय और व्यय खाते का विवरण
5. ट्रस्ट डीड की मूल प्रति के साथ
ट्रस्ट के उद्देश्य –
हम यह कह सकते है की ट्रस्ट किसी न किसी उद्देश्य के लिए ही बनाया गया है। साधारणतया ट्रस्ट का मुख्य उद्देश्य इस प्रकार से है।
सामाजिक उद्देश्य-
यह समाज में फैली हुई कुरीतियों को दूर करने हेतु प्रवचन, सेमिनार, अन्य कार्यक्रम आदि का आयोजन करता है ।
यह धर्म के प्रति फैली हुई भ्रांतियों को दूर करता है। और शुद्ध धर्म का वैज्ञानिक आधार पर प्रचार प्रसार करता है।
यह विपश्यना विद्या का प्रचार प्रसार करता है।
सेन्टर फॉर पब्लिक अवेयरनेस एण्ड इन्फॉरमेशन की गतिविधियों को संचालित करना और इसके द्वारा समाज के लोगों को जागरूक करना भी इसका
कार्य है।
इसका कार्य मनुष्यों में करुणा, प्रेम और मैत्री का प्रसार करनाहै।
कन्या भ्रूण हत्या रोकने के लिए बेटी बचाओ अभियान को आगे बढ़ाना। इसके लिए सामाजिक जागरूकता हेतु साहित्य, पुस्तकें, वीडियो कैसेट, सी.डी.,
डी.वी.डी. आदि का निर्माण एवं वितरण करना। इस हेतु प्रवचन, सेमिनार, अन्य कार्यक्रम आदि का आयोजन करना इसका कार्य है।
यह सामाजिक उत्थान के लिए तत्कालीन समय अनुसार कार्य करता है।
यह महिलाओं को शिक्षा एवं अधिकारों के प्रति जागरूक करना है।
विधवा एवं तलाकशुदा महिलाओं की आर्थिक सहायता करना व उनके जीविकोपार्जन के लिए लघु एवं कुटीर उद्योगों की स्थापना करना।
ऐसे जरूरतमंद व्यक्तियों जो सक्षम हैं। और जो विकलांग हैं। तथा जो मानसिक या शारीरिक रूप से कमजोर हैं या निर्धन वर्ग के हैं उनके उत्थान व
जीविकोपार्जन के लिये आर्थिक सहायता करना और उनके जीविकोपार्जन के लिए लघु एवं कुटीर उद्योगों की स्थापना करना इसका कार्य है।
यह निर्धन छात्र-छात्राओं को शिक्षा प्राप्त करने के लिए छात्रवृत्ति देना व उनकी शिक्षा की व्यवस्था करना।
समाज के वृद्धजनों की सेवा के लिए कार्य करना।
रोग पीड़ितों को चिकित्सा सुविधा पहुंचाने में मदद करना।
मुद्रण, प्रकाशन, वितरण एवं संचार के माध्यमों से आदिवासियों में जागृति लाना, जिसमें मुख्य रूप से शिक्षा, स्वास्थ्य (वैकल्पिक चिकित्सा), गरीबी उन्मूलन
एवं असहाय की सहायतार्थ कार्य करवाना।
यह उपभोक्ता संरक्षण तथा उपभोक्ता हितों की रक्षार्थ कार्यक्रमों का संचालन, उसके संदर्भ में कार्यक्रमों का आयोजन एवं प्रकाशन, टी.वी. सीरियल एवं
इन्टरनेट समाचार बुलेटिन आदि का प्रसारण करता है।
शैक्षिक उद्देश्य-
इसमे छात्र छात्राओं को पूर्व प्राथमिक,उच्च प्रार्थमिक, माध्यमिक,उच्च माध्यमिक और उच्चतर शिक्षा के लिए कॉलेज शिक्षा प्रदान करना तथा विद्यालय एवं उसका सुचारू रूप से संचालन करना एवं उनका रखरखाव करना आता है।
इसमे विभिन्न स्तरों पर खेल एवं खिलाड़ियों के विकास हेतु प्रतियोगिता और प्रशिक्षण शिविरों का आयोजन करना आता है।
इसमे छात्र-छात्राओं को कंप्यूटर इंजीनियर तथा आयुर्वेद एवं चिकित्सा अनुसंधान की व्यवस्था करना
इसमे छात्र छात्राओं के लिए चिकित्सा की शाखाओं में अनुसंधान हेतु बहुस्तरीय उद्देश्य एवं बहुस्तरीय योजना तैयार कर कार्यान्वित करना
यह चिकित्सा शिक्षा एवं अनुसंधान केंद्र के अंदर प्रशिक्षण प्रदान करता है। तथा विभिन्न विषय में प्रशिक्षण आंखों का इंतजाम करना और प्रबंधित करना आता है।
इसमे चिकित्सा और शिक्षा से संबंधित विभिन्न विषयों पर या विधाओं पर अनुसंधान करना शामिल है।
यह तात्कालिक युग को ध्यान मे रखकर शेक्षणिक उद्देस्यो को बढ़ाया जा सकता है । और तात्कालिक युग मे प्रचलित शिक्षा, व्यवसायिक शिक्षा प्रारंभ कर संचालित की जा सकती है।
यहा ऐसी अन्य व्यवस्था एवं क्रियाकलाप करना जो आवश्यक हो और ट्रस्ट के शैक्षिक एवं सामाजिक उद्देश्यों की पूर्ति में सहायक हो और उसको क्रियावन्त करना आता है।
उपरोक्त शैक्षिक उद्देश्यों की प्राप्ति के लिये व्यावसायिक शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में अधिक से अधिक संख्या मे छात्र छात्राओं को सफल होने के लिए विभिन्न कोचिंग कक्षाओं की व्यवस्था करना।
योग आयुर्वेद पंचगव्य चिकित्सा विज्ञान के विभिन्न विभागों में शोध कार्य करना एवं करवाना शामिल है।
इसमे एलोपैथी के अलावा अन्य चिकित्सा पद्धतियों के विकास के लिए कार्य एवं अनुसंधान के लिए अस्पताल एवं शिक्षण कार्य के लिए विद्यालय आदि खोलना आता है।
चिकित्सा सम्बन्धी उद्देश्य-
दंत चिकित्सा के प्रचार प्रसार हेतु नि शुल्क डेन्टल चेकअप कैंप का आयोजन करना।
विभिन्न प्रकार के कैंसर रोगों की रोकथाम एवं इलाज हेतु व्यवस्था करना और उनके लिए अस्पताल चलाना।
एड्स से लड़ने के लिए समाज में जागरूकता पैदा करना।
आयुर्वेद की अनेक शाखाओं में अनुसंधान हेतु बहुउद्देशीय योजना तैयार कर कार्यान्वित करना।
आयुर्वेदिक एवं अन्य चिकित्सा पद्धतियों के निदान एवं चिकित्सा शिविरों का आयोजन कर उनके स्वास्थ्य और सेवा करना।
किसी वर्ग के किसी भी व्यक्ति को किसी भी गंभीर बीमारी की चिकित्सा कराने के लिए सहयोग करना।
कुपोषण जन्य व्याधियों के निदानार्थ बालक, बालिकाओं एवं गर्भवती महिलाओं के लिए शिविरों का आयोजन करवाना
तथा विभिन्न आहार एवं औषधि और अन्य प्रकार के विटामिन्स आदि का निशुल्क वितरित करना।